देवभूमि ज्यातिर्मठ (जोशीमठ चमोली )उत्तराखंड -
केरल में टेलीविजन में सड़क पर गाय को काटते हुवे और उसके मास का सामूहिक भक्षण करते हुवे दिखाया गया है तब से समग्र भारत में उसकी तीव्र प्रतिक्रिया दिखाई पड़ रही है. कुछ लोग जो देश में साम्प्रदायिक सौमनस्य के विरुद्ध है व इसका समर्थन कर रहे है ये वे लोग है जो हिंदू धर्म को नहीं मानते है ! दूसरी और जो गाय को अपना देवता मानते है श्रधा रखते है उसकी रक्षा को अपना धर्म मानते है उनके हुदय में रोष उत्पन्न हुवा है परिणामस्वरूप इससे हिंसा का सर्जन हो सकता है जो देशहित में बाधक ही नहीं घटक भी है ऐसी स्थिति में जिन लोगों ने यह कार्य किया है वे केवल सडक में ही गौहत्या करने के दोषी नहीं है वे राष्ट्रविरोधी कृत्य के भी दोषी है "उन्हें तत्काल रासुका के तहेत जेल भेजना आवश्यक है यदि ऐसा नहीं हवा तो देश में हिंसा की आग फ़ैल जाएगी.
शंकराचार्य जी ने आगे कहा है की सरकार को ऐसे लोगों को दण्डित कर साथ ही टिव्ही में इस घटना के प्रदर्शन पर प्रतिबन्ध लगाना चाहिए इससे उत्तेजना और घृणा वातावरण में फ़ैल रही है. आदि गुरु शंकराचार्य के जन्मस्थल वाला केरल प्रदेश वहा से इस घोर अश्हील कृत्य का सामूहिक प्रदर्शन निश्चित ही हिंदुओ के रोंगटे खड़े करने वाला है
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